रोजगार के साथ पर्यटन के क्षेत्र में राष्ट्रीय पटल पर सिंगरौली को मिलेगी नई पहचान
सिंगरौली। भारत सरकार की मिनिरत्न कंपनी, नॉर्दर्न कोलफील्ड्स लिमिटेड ने अपनी सतत एवं दीर्घकालिक विकास की पहल को नया आयाम देते हुये सिंगरौली क्षेत्र के इको-टूरिज्म सर्किट को विकसित करने के उद्देश्य से बुधवार को मध्य प्रदेश पर्यटन बोर्ड के साथ एक समझौता ज्ञापन (एमओयू) किया है ।
इस अवसर पर सीएमडी एनसीएल श्री पी के सिन्हा ने एक बार फिर सिंगरौली क्षेत्र के सतत विकास पर अपनी प्रतिबद्धता को दोहराया। उन्होंने सिंगरौली इको-टूरिज्म सर्किट के विकास के लिए मप्र पर्यटन को अपना पूर्ण सहयोग देने हेतु आश्वासन दिया, जो मध्य प्रदेश के सिंगरौली जिले के उत्थान में एक प्रमुख मील का पत्थर साबित होगा।इस अवसर पर सीएमडी एनसीएल श्री पी के सिन्हा ने एक बार फिर सिंगरौली क्षेत्र के सतत विकास पर अपनी प्रतिबद्धता को दोहराया।
उन्होंने सिंगरौली इको-टूरिज्म सर्किट के विकास के लिए मप्र पर्यटन को अपना पूर्ण सहयोग देने हेतु आश्वासन दिया, जो मध्य प्रदेश के सिंगरौली जिले के उत्थान में एक प्रमुख मील का पत्थर साबित होगा।श्री राजीव रंजन मीणा, कलेक्टर सिंगरौली ने इस पहल के लिए एनसीएल व मध्य प्रदेश राज्य पर्यटन विकास निगम का अभिनंदन किया। साथ ही, अपने पूर्ण सहयोग का भरोसा देते हुए कहा कि इससे देश में सिंगरौली को नई पहचान मिलेगी।कार्यक्रम में एनसीएल के निदेशक (तकनीकी/संचालन) डॉ अनिंद्य सिन्हा, निदेशक (वित्त एवं कार्मिक) श्री आर एन दुबे, निदेशक (तकनीकी/परियोजना एवं योजना) श्री एस एस सिन्हा एवं एनसीएल व एमपीएसटीडीसी, आईआईटी-बीएचयू के अन्य अधिकारी वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से उपस्थित रहे।
एनसीएल के एमपी टूरिज्म के साथ एमओयू से इको-माइन टूरिज्म और इको-पार्क के विकास के अवसर मिलेंगे । साथ ही, स्थानीय लोगों के लिए रोजगार और व्यापार के व्यापक अवसर पैदा होंगे। इस पहल से मध्यप्रदेश राज्य में खनन, वन्य जीवन, सांस्कृतिक विरासत से परिपूर्ण एक नए पर्यटन सर्किट का विकास होगा।